मनीष कुमार मौर्य की रिपोर्ट,
ढोलबज्जा: भागलपुर व मधेपुरा जिले के सीमावर्ती इलाका चौसा थाना क्षेत्र अंतर्गत लौआलगान पूर्वी पंचायत के खोपड़िया में, अपराधियों ने दिनदहाड़े चाचा को बचाने के दौरान उसके भतीजे को हीं गोलियों से छलनी कर मौत की घाट उतार दी. घटना बुधवार की दोपहर करीब 1:30 बजे की है.
परिजनों ने बताया कि- खोपड़िया गांव निवासी जय लाल सिंह के पुत्र निरंजन सिंह घर से निकल कर सड़क किनारे दरवाजे पर ही थे कि दो मोटरसाइकिल ग्लैमर व अपाचे पर सवार अपराधी आए और निरंजन सिंह पर गोली चला दी. गोली लगते ही निरंजन सिंह एकाएक तरफ कर भागे, इसी बीच पास मौजूद उसके भतीजे सूचित सिंह के पुत्र सुमन कुमार उर्फ टुनटुन ने अपराधियों को अपने बाहों में जकड़ कर पकड़ लिया था.
तब तक दूसरा अपराधियों ने निरंजन को छोड़ टुनटुन को हीं लगातार चार गोलियां मार कर फरार हो गए. जिससे उसकी मौके पर ही उसके मौत हो गई. गोलियों की तड़तड़ाहट की आवाज सुन गांव के लोग जब तक मौके पर पहुंचे तब तक अपराधी बिंदटोली गांव की तरफ भाग निकले थे. ग्रामीणों ने आनन-फानन में दोनों चाचा-भतीजे को उठाकर चौसा अस्पताल इलाज के लिए ले गया.
जहां चिकित्सकों ने सूचित सिंह के बेटे टुनटुन को मृत घोषित कर दिया. वहीं जख्मी निरंजन सिंह को चौसा पुलिस के संरक्षण में इलाज के लिए मायागंज अस्पताल भेजा गया. निरंजन को गर्दन में एक गोली फंसी हुई थी. टुनटुन के मौत से मां रोना देवी व पत्नी दुलारी देवी की रो-रोकर बुरा हाल थी. वह बार-बार बेहोश हो जा रही थी. टुनटुन पांच भाइयों में सबसे छोटा था. उसके मौत से जहां पूरे गांव में मातम छाया हुआ था तो वहीं लोग दहशत में भी थे. वहीं इस घटना के ना तो कारणों का पता चल पाया है ना हीं हत्यारों का पता चला है. चौसा पुलिस मामले की छानबीन कर रही है.
वहीं इस घटना को लेकर गांवों में तरह-तरह की चर्चाएं हो रही है कि- चौसा व कदवा थाना क्षेत्र का सुदुर इलाका जो मधेपुरा व भागलपुर जिले का सीमांत क्षेत्र है, वह अपराधियों के लिए एक सेफ जोन बना हुआ है.
जहां अपराधी बड़े-बड़े घटनाओं को अंजाम देकर बिंदटोली गांव में हीं संरक्षण लेते हुए आसानी से फरार हो जाते हैं. दोनों जिले व दोनों थाना क्षेत्रों का बॉर्डर इलाका होने के कारण इस गांव में चौसा थाना व कदवा थाना की पुलिस कभी भी गश्ती नहीं करते हैं. जिससे अपराधी खुलेआम संरक्षण लिए होते हैं. इस घटना से कुछ दिन पहले लौआलगान के भूतपूर्व सरपंच मुन्ना यादव की भी हत्या कर अपराधी बिंदटोली गांव की तरफ भाग कर हीं संरक्षण लिए फरार हुए थे.इस घटना में भी अपराधियों ने टुनटुन की हत्या कर बिंदटोली गांव होकर ही फरार हुए हैं. जो पुलिस प्रशासन के लिए एक बड़ी चुनौती बनी हुई है.