बिहपुर- प्रखंड के खानका ए आलिया फरिदिया मोहब्बतिया के सज्जादानशीं हजरत अली कौनैन खॉ फरीदी नायब सज्जादा नशीं हजरत मौलाना अली शब्बर खॉ फरीदी ने कहाकि रमजानुल मुबारक का पहला असरा रहमत, दूसरा असरा मगफेरत, तीसरा असरा जहनुम से निजात .
छुटकारा. दिलाने का है इस्लाम को मानने बाले मुसलमानों के लिए रमज़ान इसलिए भी महत्वपूर्ण है कि क्योंकि इसी महीने में कुरान शरीफ नाजिल हुई थी इस महिने में दोज़ख के दरवाजे बंद कर दिये जाते हैं और जन्नत के दरवाजे खोल दिये जाते हैं रोजा के दौरान इंसान को झूठ बोलना,
लडाई करना या कराना चुगली करना व गाली गलोज करना मना है रोजा हमें गरीब भुखे असहायो की मदद करने की भी सीख देता है ऐसा करने से भाई चारे का प्रेम बनता है उनहोंने कहा कि माहे रमजान की बेशुमार फजीलतें है बही सज्जादा नशीं ने कहाकि इस महिने का कदर करें खुब खुदा की इबादत करें व कुरान शरीफ की तिलाबत करें फरीदी ने लोंगो से कोरोना महामारी से बचाव के लिए सरकार दूारा किये गये आदेश का पालन करने और अपने घरों में नमाज व रोजा इफ्तार करने की अपील की.