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नवगछिया अनुमंडल के रंगरा चौक प्रखंड के मध्य विद्यालय झल्लूदास टोला में दहशत के कारण बच्चों की उपस्थिति शुक्रवार को नगण्य था। मात्र 25से30 छात्र -छात्राएं विभिन्न कक्षाओं की शुक्रवार को उपस्थित थे। आठ में से छह शिक्षक -शिक्षिकाएं विद्यालय में उपस्थित थे।विद्यालय की सभी छह रसोईया बिना किसी सूचना के अनुपस्थित रही।बडी संख्या में बच्चे विद्यालय से घूम कर वापस घर चले गये। बताते चलें कि गुरुवार को इस विद्यालय में मध्याह्न भोजन खाने के बाद दर्जनों बच्चे बीमार हो गये थे। सभी बीमार बच्चों का इलाज सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र रंगरा चौक पर गुरुवार को किया गया तथा स्वस्थ होने पर सभी को स्वास्थ्य केन्द्र से छुट्टी कर घर भेज दिया गया।
ग्रामीणों ने बताया कि विद्यालय की व्यवस्था काफी लचर है। चारो तरफ गंदगी फैली हुई है। वर्ग कक्ष का दरवाजा टूटा हुआ है.।पंचायत चुनाव के पूर्व वरीय अधिकारियों को शिकायत किया गया था। परन्तु किसी तरह की कार्रवाई नहीं हुई।

प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी ने लिखा रिपोर्ट खाने में थी कीट पिल्लू

रंगरा चौक प्रखंड की शिक्षा पदाधिकारी कुमारी निर्मला ने बीआरसी में बताया कि मेंने अपनी रिपोर्ट जिला शिक्षा पदाधिकारी सहित अनुमंडल पदाधिकारी नवगछिया को भेज दिया है।रिपोर्ट में कहा गया है कि मध्याह्न भोजन योजना के चावल में काफी कीडा देखा गया। आलू बोरा में रखा हुआ था। जो काफी बदबू दे रहा था। रसोईघर व उसके आसपास भी गंदगी फैली हुई थी। रसोईघर व भंडार कक्ष को सील कर दिया गया है। आगे की कार्रवाई वरीय अधिकारियों को निर्देश के आलोक में किया जायेगा।विद्यालय में मौजूद शिक्षकों ने बताया कि कार्यालय का ताला तोड कर कुर्सी बाहर फेकी हुई थी। जिसे विद्यालय आने पर भीतर कर हमलोग बैठे। बच्चों की उपस्थिति काफी कम थी।

निलंबित प्रधानाध्यापक अस्पताल में भर्ती

प्रधानाध्यापक रामोतार पासवान ने बीआरसी में बताया कि कल मेरे साथ ग्रामीण जो कि बिहार पुलिस के जवान हैं ने मारपीट किया। दो कुर्सी से मुझे मारा। जिस कारण दोनों कुर्सियां टूट गई हैं। जो विद्यालय में पडा हुआ है। इतना ही नहीं बाइक सीधे कार्यालय में घुसा कर मेरे पैर में धक्का मार दिया। जिस कारण मेरा दांत टूट गया और शरीर में कई जगह चोट लगी है। उन्होंने बताया कि मेंने अपना इलाज रंगरा सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में करवाया है। पूरे मामले की लिखित जानकारी अपने विभाग के वरीय अधिकारियों व स्थानीय पुलिस को दिए हैं।उन्होंने बताया कि ग्रामीण राजनीति के तहत मेरे साथ दुर्व्यवहार किया जा रहा है। विद्यालय में चहार दिवारी नहीं है। जिस कारण असामाजिक तत्त्वों द्वारा विद्यालय में अवैध कार्य किया जाता है।

क्या कहते हैं जिला शिक्षा पदाधिकारी

जिला शिक्षा पदाधिकारी संजय कुमार ने बताया कि ततकाल प्रधानाध्यापक को निलंबित कर दिया गया है। रसोईघर व भंडार कक्ष को सील कर दिया गया है। जांच कमेटी बना कर पूरे मामले की जांच करवा कर दोषियों पर सख्त कार्रवाई की जायेगी। उन्होंने बताया कि विद्यालय में पठन -पाठन प्रारंभ करने हेतु अधिकारियों की टीम गांव में भेजी जायेगी।

78 बच्चे हुए थे अस्पताल में भर्ती

विद्यालय में 78 बच्चे भोजन खाने के बाद बीमार होने की आशंका को लेकर के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र रंगरा में भर्ती हुए थे। जिसे देर रात 11:00 बजे तक डिस्चार्ज कर दिया गया था। डॉक्टर पिंकेश कुमार ने बताया कि छात्रों में कुछ एक छात्र ही बीमार थे लेकिन बाकी सभी बच्चे एक दूसरे को देख कर के इलाज कराने अस्पताल पहुंचे थे। लेकिन सभी बच्चे को इलाज के उपरांत घर पहुंचाया गया है।

रात भर लेते रहे घटना की जानकारी

भागलपुर के जिला शिक्षा पदाधिकारी संजय कुमार ने मध्यान भोजन साधन सेवी रंजीत मालाकार को अस्पताल में कैंप कर सभी बच्चों का बेहतर इलाज के लिए प्रतिनियुक्त किए थे। जिला शिक्षा पदाधिकारी ने बताया कि देर रात तक हम लोगों ने अस्पताल में बच्चों के घर पहुंचने एवं उसके सब कुशल रहने की जानकारी लेते रहे।

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