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के स्थलों को चिन्हित व चयनित किया जाए – सांसद

@ सांसद अजय कुमार मंडल ने बिहार के मुख्यमंत्री एवं उद्योग मंत्री को लिखा पत्र. न्यू हवाई अड्डा का निर्माण सुल्तानगंज में नहीं नवगछिया या गोराडीह में हो.


भागलपुर : न्यू हवाई अड्डा का निर्माण सुल्तानगंज के बदले नवगछिया, गोराडीह में किए जाने को लेकर सांसद अजय कुमार मंडल ने अपने पत्र के माध्यम से मुख्यमंत्री एवं उद्योग मंत्री को जनता से किए वादे का जिक्र करते हुए कहा है कि भागलपुर को औद्योगिक क्षेत्र बनाने के लिए बिहार सरकार द्वारा लगातार प्रयास किया जा रहा है और इसके लिए जिले के भूखंड का ब्यौरा भी मांगा गया है. भूखंड चिन्हित कर बिहार सरकार को सौंपने के बाद, यहां नया औद्योगिक क्षेत्र बनकर तैयार हो जाएगा. उन्होंने अपने वादे में कहा था कि क्षेत्र का सर्वांगीण विकास होगा जिसमें औद्योगिक विकास भी शामिल था.क्षेत्र भ्रमण के दौरान असंख्य लोगों ने मुझसे शिकायत की है कि भागलपुर संसदीय क्षेत्र में औद्योगिक विकास के लिए जो स्थल चिन्हित किया जाना था वह नहीं करके संसदीय क्षेत्र से बाहर अकबरनगर में औद्योगिक क्षेत्र चिह्नित किया जा रहा है. भागलपुर संसदीय क्षेत्र की आम जनता जिला प्रशासन के इस कदम से परेशान है.


भागलपुर को जो नया औद्योगिक क्षेत्र मिलने वाला है वह भागलपुर संसदीय क्षेत्र में नहीं होगा जबकि भागलपुर संसदीय क्षेत्र में औद्योगिक विकास के लिए पर्याप्त भूमि उपलब्ध है. गोराडीह, नवगछिया एवं अन्य जगहों पर बियाडा की सैकड़ो एकड़ जमीन रहते हुए भागलपुर जिला प्रशासन द्वारा संसदीय क्षेत्र से बाहर अकबरनगर में जमीन चिन्हित की जा रही है. जो जमीन पहले एयरपोर्ट के लिए चिन्हित किया गया था परंतु बाढ़ ग्रस्त क्षेत्र होने के कारण उस स्थल को रिजेक्ट कर दिया गया. अब ऐसे में एक बड़ा प्रश्न है कि अगर अकबरनगर का स्थल बाढ़ ग्रस्त क्षेत्र होने के कारण जब हवाई अड्डा के लिए नहीं चयनित किया गया तो वहां औद्योगिक क्षेत्र कैसे स्थापित होगा. जिला प्रशासन का यह निर्णय बिना सोचे समझे लिया हुआ मालूम पड़ता है.
सांसद ने भागलपुर संसदीय क्षेत्र की जनता के हित में सोचते हुए आगे कहा है कि गोराडीह के प्रस्तावित एयरपोर्ट स्थल से 15-20 किलोमीटर के रेडियस में विक्रमशिला महाविहार, पीएम पैकेज के तहत प्रस्तावित विक्रमशिला सेंट्रल यूनिवर्सिटी, ट्रिपल आइटी, सीपेट, सीपटीर आइटी पार्क इंजीनियरिंग कॉलेज कहलगांव एनटीपीसी, प्रस्तावित पीरपैती एनटीपीसी, सुपर स्पेशियलिटी हॉस्पिटल है. बिहार-बंगाल की सीमा भी निकट में है. इससे व्यापारी, अधिकारी और पर्यटकों को हवाई सेवा का लाभ लेना सुलभ होगा, इन परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए आगाह किया गया है कि समिति के माध्यम से केंद्रीय नागरिक विमानन मंत्रालय व बिहार सरकार गोराडीह में जल्द हवाई अड्डे के निर्माण के लिए कार्रवाई करें.
उपर्युक्त कथनों के साथ-साथ सांसद अजय कुमार मंडल ने मुख्यमंत्री एवं उद्योग मंत्री से अनुरोध किया कि जिला प्रशासन को भागलपुर संसदीय क्षेत्र के अंतर्गत नवगछिया, गोराडीह या अन्य जगहों पर औद्योगिक क्षेत्र को चयन करने का निर्देश दे जिससे भागलपुर संसदीय क्षेत्र की जनता भी लाभान्वित हो सके.
इधर कभी गोराडीह तो कभी सुल्तानगंज के कयास के बाद राज्यसभा सचिवालय की परिवहन, पर्यटन व संस्कृति संबंधी संसदीय स्थायी समिति के अध्यक्ष को पत्र भेज कर आपत्ति दर्ज कर दी गयी है. आपति यह है कि गोराडीह ऐतिहासिक पर्यटक स्थल, राष्ट्रीय संस्थाओं व विहार-बंगाल चौर्डर के नजदीक है, लिहाजा हवाई अड्डा का निर्माण गोराडीह में ही हो. आपत्ति दर्ज की जाने के बाद एयरपोर्ट अथॉरिटी ऑफ इंडिया (एएआई) के महाप्रबंधक डॉ गुस्सेवक मनीष ने गत आठ नवंबर को बिहार सरकार को पत्र भेजा है. वह कात्र है कि ग्रीनफील्ड हवाई अड्डे के विकास के लिए गोराडीह (भागलपुर) में प्रस्तावित स्थल के संबंध में टिप्पणी प्रदान करें.
कुलमिलाकर, कयास के कबूतर की मानें तो भागलपुर में न्यू हवाई अड्डा निर्माण को लेकर आगामी विधान सभा चुनाव तक कुछ इसी प्रकार की धींगामुश्ती चलती रहेगी. कभी गोराडीह तो कभी सुल्तानगंज के शगूफे उड़ते रहेंगे. इस बीच समर्थन – विरोध का भी खूब डंका बजेगा.

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