बिहार कृषि विश्वविद्यालय सबौर में बीज उद्योग अकादमिक बैठक का संयोजन कुलपति की अध्यक्षता में आहूत की गयी । इस बैठक का मुख्य उद्देश्य विश्वविद्यालय के वैज्ञानिक एवं निजी उद्योग के क्षेत्र में किये जा रहे अनुसन्धान पर विस्तृत चर्चा कर ज्ञान के आदान – प्रदान और सहयोगात्मक पहल के साथ साथ अन्य क्षेत्र में किये जा रहे अनुसन्धान से अवगत कराना था। डॉ डी आर सिंह, कुलपति महोदय ने अपने अध्यक्षीय भाषण में उद्योग एवं विश्विद्यालय के बीच एक मजबूत कड़ी स्थापित कर कृषि को नये आयाम प्रदान करने की पहल की जाए।
साथ ही साथ कुलपति महोदय ने कहा की शोध सलाहकार समिति में निजी क्षेत्र का प्रतिनिधि रखने हेतु पहल की जाए। कुलपति महोदय ने यह भी बताया कि विश्वविद्यालय से विकसित सभी प्रभेदों के विस्तार के लिए निजी क्षेत्र के द्वार खोले जाएंगे ताकि विश्वविद्यालय के बीज ज्यादा से ज्यादा किसानो के बीच जा सके। भारतीय बीज अनुसंधान संस्थान, मऊ के निदेशक ने बताया कि सार्वजनिक एवं निजी एजेंसियों के बीच विश्वास बनाए रखने की जरूरत है। उन्होंने वर्ष में दो बार फील्ड दिवस आयोजित करने का सुझाव दिया जिससे नई नई तकनीक का प्रचार और प्रसार दूर-दूर तक के किसानों को कम अवधि में पहुंच सके।
निजी क्षेत्र से आए हुए प्रतिनिधि ने विश्वविद्यालय की इस पहल की प्रशंसा की एवं भविष्य में इसे बड़े स्तर पर करने की आवश्यकता पर बल दिया। इस बैठक में विश्वविद्यालय द्वारा विकसित तकनीकों जैसे सबौर आर्सेनिक मिटिगेटर, ट्राइकोडर्मा आदि को किसानों तक पहुंचाने में अपनी संयोगिता की रूचि दिखाई। डॉ फ़िज़ाअहमद, संयोजक (SIAM, 2023) ने अपने स्वागत भाषण में विश्वविद्यालय द्वारा विकसित प्रभेदों, तकनीकों एवं उत्पादों की विस्तृत जानकारी दी। साथ ही उन्होंने बीज उत्पादन कार्यक्रम को विस्तार से बताय। डॉ फ़िज़ा ने यह भी बताया कि विश्वविद्यालय में निजी एजेंसियों के सहयोगिता को आगे बढ़ाने के लिए SOP बनाने की जरूरत है जिससे दोनों पक्ष लाभान्वित हो सकें। इस सम्मेलन का समापन कुमारी रजनी के धन्यवाद ज्ञापन से संपन्न हुआ।