भागलपुर जिलाधिकारी डॉ नवल किशोर चौधरी की अध्यक्षता में उनके कार्यालय कक्ष में सभी पदाधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की गई। बैठक में उन्होंने पदाधिकारी को लंबित पत्रों के निष्पादन में विलंब न करने का सख्त निर्देश दिया। उन्होंने कहा कि ऐसा देखा जा रहा है कि विभिन्न विभागों से आए हुए पत्रों का निष्पादन कई शाखाओं द्वारा ससमय नहीं किया जा रहा है, यदि संबंधित शाखा के लिपिक कार्य नहीं कर रहे हैं तो उनके विरुद्ध कार्रवाई की जाए।
उन्होंने कहा कि कई ऐसे सरकारी कर्मी हैं जिनके यहां सरकार की राशि वसूली की जानी है, यदि उनका स्थानांतरण या सेवानिवृत हो चुका है तो उनकी सूची को कोषागार से निकाली जाए और उनके विरुद्ध वसूली की कार्रवाई की जाए। विकास शाखा में पुलिया/सड़क निर्माण से संबंधित आवेदन भी दिए गए होंगे उन पर भी कार्रवाई अपेक्षित है। निजी विद्यालय को भी अपने छात्रों का नाम एवं आधार कार्ड अपलोड किया जाना है जो लंबित है। सरकारी विद्यालय एवं छात्रों का आधार कार्ड को भी अपलोड किया जाना है। जिलाधिकारी ने कहा कि वैसे निजी स्कूल यदि सरकार के अनुदेश का पालन नहीं करता है तो उनके रजिस्ट्रेशन को रद्द करने पर भी विचार किया जा सकता है।
आरटीपीएस के आवेदन निष्पादन की समीक्षा के दौरान बताया गया कि राजस्व विभाग से संबंधित आवेदनों के निष्पादन संतोषप्रद नहीं है। वैसे अधिकारी जिनके यहां आवेदन लंबित है उनके विरुद्ध आरटीपीएस एक्ट के तहत जुर्माना करने तथा जुर्माना की राशि जमा कराए जाने के बाद ही उनके वेतन का भुगतान को कोषागार से किया जाएगा। बैठक में उप विकास आयुक्त कुमार अनुराग, सहायक समाहर्ता गरिमा लोहिया, अपर समाहर्ता महेश्वर प्रसाद सिंह सहित सभी संबंधित पदाधिकारी उपस्थित थे।