नवगछिया : वर्तमान में कलयुगी पुत्र का दंश प्राकृतिक आपदाओं से भी बढ़कर होने लगा है । परवरिश में पले बड़े बच्चे अपने माता-पिता को जीवित में ही मृत घोषित करने में लगे हैं । संपत्ति और पैसे की चाहत आदमी को बिल्कुल गर्त की ओर ले जा रहा है और दबा रहा है । विगत वर्ष नवगछिया के तेतरी से एक मामला सामने आया था जहां पुत्र दिवाकर नारायण झा ने अपने सेवानिवृत्ति पिता परमेश्वर झा जिस समय जीवित थे को मृत्यु घोषित कर घर की 8 डिसमिल जमीन को बेच दी थी और खरीददार भी पड़ोसी ही थे । वही अब दूसरा मामला नवगछिया अनुमंडल के ही गोपालपुर प्रखंड से आया है जहां कलयुगी पुत्र ने मानवता के साथ-साथ पुत्र शब्द को भी शर्मसार कर दिया है ।
जिस पिता को मन्नतों बाद पुत्र प्राप्त हुआ और जिसे गरीबी की आग में तपकर पाल पोस कर बड़ा किया, शायद इस उम्मीद से कि बुढ़ापे में यही पुत्र उनका सहारा बनेगा। परंतु कलियुगी पुत्र ने बुढ़ापे का सहारा बनना तो दूर, जीते जी पिता को सरकारी दस्तावेज में मृत घोषित कर दिया।
इसी तरह का एक अजीबोगरीब घटना प्रकाश में आया है। जहां पुत्र ने संपत्ति और जमीन के लालच में अपने पिता को सरकारी दस्तावेज में मृत घोषित कर जमीन अपने नाम करवा ली। जी हां यह सत्य और हालिया घटना गोपालपुर थाना क्षेत्र के डुमरिया गांव की है। घटना प्रकाश में आने के बाद पूरे समाज में यह चर्चा का विषय बन गया है।
इस संबंध में पीड़ित पिता डुमरिया निवासी गोपाल मंडल ने न्याय के लिए आरोपी पुत्र के विरुद्ध गोपालपुर थाने में लिखित रूप से आवेदन दिया है। गोपाल मंडल ने थाने में दिए अपने आवेदन में बताया है कि कुछ वर्ष पूर्व उन्होंने मेहनत मजदूरी कर पांच कट्ठा जमीन खरीदी थी। बड़े भाई ,दो पुत्र एवं एक पुत्रवधू की गंभीर बिमारी के कारण कुछ वर्ष पूर्व मौत हो गई। बिमारी एवं श्राद्ध में उन्हें कर्ज लेकर खर्च करना पड़ा। यह मामला तब उजागर हुआ जब उन्होंने महाजन का कर्ज चुकाने के लिए एक कट्ठा जमीन किसी के यहां बिक्री की। जमीन खरीदने वाले खरीददार ने जब जमीन का दाखिल खारिज कराने गोपालपुर अंचल कार्यालय में आवेदन दिया तो पता चला कि यह जमीन उनके बड़े पुत्र भोला मंडल द्वारा पिता की मृत्यु के बाद जमीन अपने नाम करवा लिया गया है। यह सुनते ही गोपाल मंडल के पैरों तले जमीन खिसक गई। और वे फूट फूट कर रोने लगे।
हैरत की बात यह है कि गोपालपुर अंचल अधिकारी ने पिता की मृत्यु प्रमाण पत्र का सत्यापन और देखे बिना हीं बड़े पुत्र भोला मंडल के नाम से जमीन की जमाबंदी कायम कर दी। बताया जा रहा कि गोपालपुर अंचल कार्यालय के कुछ कर्मचारियों और अंचल कार्यालयों में पैठ बनाए दलालों के रैकेट से मिलीभगत से इस तरह का फर्जीवाड़ा किया गया है। बहरहाल गोपालपुर पुलिस घटना की जांच कर रही है तो वहीं सरकारी दस्तावेज मृत पिता सरकारी कार्यालय का चक्कर लगाकर अपने आप को जीवित साबित करने में लगे हुए हैं।