भागलपुर के व्यवहार न्यायालय सिविल कोर्ट में आज अधिवक्ता अपनी मांगों को लेकर धरने पर बैठ गए। दरअसल अधिवक्ताओं को उच्च न्यायालय पटना से खंडपीठ के स्थापना को लेकर जद्दोजहद करनी पड़ रही है। धरने पर बैठे अधिवक्ताओं का कहना है कि महाभारत काल से ही अंग प्रदेश काफी पुराना जिला रहा है। और यहां के सिविल कोर्ट में खंडपीठ की स्थापना नहीं होने से समस्याएं हो रही है।
अधिवक्ताओं ने कहा कि कई लंबित मुकदमे किशन भाई को लेकर उन्हें पटना उच्च न्यायालय जाना होता है। जबकि मुकदमे में वादी प्रतिवादी को सुबह की राजधानी जाने में एक अच्छा खासा खर्च भी उठाना पड़ता है। साथ ही कहा कि बिहार सरकार के विशेष सचिव द्वारा ज्ञापन में निर्धारित करते हुए कार्यवाही करने के.
अनुशंसा की गई जबकि पूर्व चीफ जस्टिस को भी इस व्यवस्था को सुनिश्चित किए जाने को लेकर सर्वोच्च न्यायालय पिछले वर्ष ज्ञापन भेजा गया है। अधिवक्ताओं ने कहा कि वे लोग सर्वोच्च न्यायालय दिल्ली और उच्च न्यायालय पटना से भागलपुर खंडपीठ के स्थापना को लेकर यथाशीघ्र कार्रवाई करने का निवेदन किया है साथ ही कहा है कि वे लोग एक दशक से इसके लिए प्रयासरत हैं और आगे भी अपनी संभावित उपस्थिति दर्ज कराएंगे मौके पर भागलपुर जिला के कई अधिवक्ता मौजूद रहे।