भागलपुर: जिले में ऑनलाइन चालान प्रणाली का दुरुपयोग तेजी से बढ़ रहा है, जिससे निर्दोष वाहन मालिकों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। फर्जी नंबर प्लेट लगाकर अपराधी ट्रैफिक नियमों का उल्लंघन कर बच निकल रहे हैं, और असली वाहन मालिकों को बिना किसी गलती के चालान का भुगतान करना पड़ रहा है।
इस तरह के फर्जीवाड़े से लोग परेशान हैं, लेकिन पुलिस और परिवहन विभाग की निष्क्रियता के कारण मामले सुलझने के बजाय उलझते जा रहे हैं। जिले में सीसीटीवी कैमरे और अन्य तकनीकी संसाधन होने के बावजूद पुलिस अपराधियों को पकड़ने में असमर्थ साबित हो रही है।
ताजा मामला बरारी थाना क्षेत्र के एक युवक का है, जिसका तीन बार गलत तरीके से चालान काटा गया। जांच में यह सामने आया कि किसी ने उसकी बाइक की फर्जी नंबर प्लेट का इस्तेमाल करके ट्रैफिक नियमों का उल्लंघन किया था। युवक राहुल ने ट्रैफिक डीएसपी कार्यालय में शिकायत की, लेकिन उसे खुद ही फर्जीवाड़ा करने वाले को तलाशने की सलाह दी गई। इसी तरह नालंदा के एक शिक्षक ने भी मोजाहिदपुर थाने में शिकायत दर्ज कराई थी, लेकिन पुलिस ने सिर्फ सनहा दर्ज कर मामले को ठंडे बस्ते में डाल दिया।
यह सवाल खड़ा करता है कि जिले में सीसीटीवी और अन्य संसाधन होने के बावजूद पुलिस की निष्क्रियता से लोग क्यों असहाय महसूस कर रहे हैं। लोग न केवल आर्थिक नुकसान झेल रहे हैं, बल्कि मानसिक तनाव का भी सामना कर रहे हैं।
इस बारे में SSP आनंद कुमार ने कहा कि इन मामलों की शिकायतों की जांच के लिए ट्रैफिक डीएसपी को निर्देशित किया गया है। साथ ही, दोषियों का पता लगाने के लिए कमांड, कंट्रोल, कम्युनिकेशन सेंटर (Triple-C) के कैमरों का अवलोकन किया जाएगा। उन्होंने कहा कि फर्जी नंबर प्लेट का इस्तेमाल करके नियमों का उल्लंघन करने वालों की पहचान की जाएगी और ऐसे अपराधियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।