नवगछिया के इस्माइलपुर बिनदटोली एवं खैरपुर राघोपुर के बीच नदी का धारा को बदलने के लिए जल संसाधन विभाग के द्वारा फिर से कवायद शुरू किया गया है। नदी की धारा जिस तरह से तटबंध की ओर है इस धारा को सिल्टेशन की ओर करने के लिए विभाग के मंत्री संजय झा के निर्देश पर आई डब्ल्यू ए आइ की टीम एवं जल संसाधन विभाग की सात सदस्य टीम ने जहाज से निरीक्षण किया और नदी की डेफथ को देखा। इस निरीक्षण का नेतृत्व कर रहे थे जल संसाधन विभाग के तकनीकी परामर्शी सेवानिवृत्त अभियंता प्रमुख अंजनी कुमार सिंह ने .
इनके साथ जल संसाधन विभाग के मॉनिटरिंग कार्यपालक अभियंता आलोक कुमार कटिहार के मुख्य अभियंता अनिल कुमार मुख्य अभियंता रूपांतरण शोध एवं गुण नियंत्रण पटना के राकेश कुमार एवं आई डब्ल्यू ए आई के एएस एच आरसी पांडे टी ए आनंद कुमार टीए रवी कौशिक ने अधिकारियों के द्वारा कई जगहों को देखा।
जिसमें कुछ जगह पर सिल्टेशन होने के साथ-साथ कुछ जगहों पर नदी की धारा को बदलने की बात किया गया उन्होंने बताया कि हमने नाद नगर से खैरपुर राघोपुर होते विक्रमशिला सेतु के नीचे एवं विक्रमशिला सेतु से लेकर इस्माइलपुर बिनटोली तक निरीक्षण किया है। निरीक्षण के उपरांत अधिकारियों ने बताया कि नदी की धारा बदलने का नया जगह है उन्होंने बात बताया कि ऐसे इस्माइलपुर से बिन टोली के बीच सपर संख्या 5 से लेकर 9 के बीच स्थिति गंभीर बताया गया है।
नदी का दबाव तटबंध के समीप है जहां पर नदी लगभग 12 से 15 मीटर नीचे गहराई में बह रहा है जो काफी खतरनाक है। इस निरीक्षण के दौरान नदी की साउंडिंग जांच भी किया गया जिससे कि नदी किस तरह से बहाव रहा है इसकी भी जांच किया गया अधिकारियों ने बताया कि इस्माइलपुर से बिनटोली को बचाने के लिए हम लोगों ने कवायद शुरू किया है कि इसमें 84 धार एवं पुरानी धार है जिसको अगर खोला जाए तो थोड़ा सा नदी का.
दबाव तटबंध पर कम होगा ऐसे इस बार यहां पर सिल्ट को काटने का भी विशेष तौर पर कार्य किया जा रहा है जिससे नदी का दबाव कम होगा अंजनी कुमार सिंह ने बताया कि जिस तरह से यहां पर काम चल रहा है नदी का दबाव को कम करना जरूरी है क्योंकि यहां पर नदी पूरी तरह से उल्टी बह रही है। इस मौके पर अधीक्षण अभियंता शशिकांत सिन्हा कार्यपालक अभियंता दिनेश कुमार एवं अन्य अधिकारी मौजूद थे।