निभाष मोदी, भागलपुर।
भागलपुर, जगदीशपुर प्रखण्ड की रहने वाली एक अवला, महिला सशक्तिकरण की एक मिसाल कायम करते हुए दिख रही है ।बताते चलें कि पिछले सात सालों से मालवाहक वाहन से लेकर ऑटो रिक्शा चलाकर न केवल अपने परिवार का भरण-पोषण की जिम्मेवारी उठा रही है,बल्कि अपने बीमार पति का इलाज के साथ अपने एक बेटे और एक बेटी को शिक्षा दिलाने का काम कर रही है।पति के बीमार पड़ने के बाद घर की माली हालत नाजुक होने पर पूनम चौधरी ने स्वयं कमाने का बीड़ा उठायी और पहले तो पांच सालों तक छोटे-छोटे मालवाहक वाहन को चलायी और फिर दो सालों से ऑटो रिक्शा चलाकर अपने परिवार का लालन पालन की जिम्मेवारी का निर्वहन कर रही है
।वह प्रतिदिन जगदीशपुर से यात्रियों को ढोकर भागलपुर तक लाती है और फिर भागलपुर शहर में ऑटो रिक्शा चलाने के बाद शाम को जगदीशपुर जाने वाले यात्रियों को लेकर जाती है।सामाजिक ताना सुनने के बावजूद वह अपना हौसला नहीं खोई और आज भी अपनी जिम्मेवारी बखूबी निभा रही है।जबको उन्हें किसी तरह की कोई सरकारी या गैर सरकारी सहायता नहीं मिली।ऐसी ही नारी सशक्तिकरण के साथ पारिवारिक दायित्व का निर्वहन कर मिसाल पेश कर रही