पुलिस वाहन क्षतिग्रस्त, चार पुलिसकर्मी घायल
40 नामजद समेत 60 अज्ञात पर प्राथमिकी दर्ज
नवगछिया। भवानीपुर थाना क्षेत्र के आशाटोल गांव में सरकारी जमीन पर कब्जा करने के लिए चल रहे मिट्टी भराई कार्य को रोकने गई पुलिस टीम पर ग्रामीणों ने हमला कर दिया। यह घटना बिहार सरकार की 38 डिसमिल जमीन पर हुई, जो न्यायालय में विचाराधीन है।
पुलिस टीम, जिसमें डायल 112 के अवर निरीक्षक सुरेंद्र पंडित शामिल थे, सूचना मिलने पर मौके पर पहुंची थी। पुलिस ने मिट्टी भराई कार्य रोकने और जानकारी लेने का प्रयास किया, लेकिन ग्रामीणों ने हंगामा करते हुए पुलिस से नोकझोंक शुरू कर दी।
घटना का विवरण:
सूचना मिलते ही भवानीपुर थानाध्यक्ष महेश कुमार, सहायक अवर निरीक्षक (एएसआई) शिवपूजन ठाकुर दलबल के साथ घटनास्थल पर पहुंचे। जैसे ही पुलिस टीम वहां पहुंची, बड़ी संख्या में मौजूद महिला, पुरुष और युवाओं ने पुलिसकर्मियों को घेर लिया और उन पर ईंट-पत्थर फेंकने शुरू कर दिए।
इस हमले में एएसआई शिवपूजन ठाकुर, हवलदार दिलीप यादव, सिपाही अमरेश कुमार और नंदकिशोर साह घायल हो गए। रोड़ेबाजी के दौरान भवानीपुर थाना की दो पुलिस गाड़ियों के शीशे टूट गए और वाहन क्षतिग्रस्त हो गए।
प्राथमिकी दर्ज:
डायल 112 के अवर निरीक्षक सुरेंद्र पंडित के आवेदन पर भवानीपुर थाना में 40 नामजद और 60 अज्ञात लोगों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की गई है।
नामजद आरोपियों की सूची:
आशाटोल निवासी सच्चिदानंद शर्मा, संजय शर्मा, जयकांत शर्मा, नंदकिशोर शर्मा, रंजीत शर्मा, दिनेश शर्मा, कोकण शर्मा, ऋषि कुमार, सौरभ कुमार, ऋषि कुमार की पत्नी, मृत्युंजय शर्मा, मिथुन शर्मा, नीरज शर्मा, रणजीत कुमार की पत्नी, अंजनी शर्मा, संजीव शर्मा, गांधी शर्मा, मोद शर्मा, लड्डू शर्मा, विकास शर्मा, मुन्ना शर्मा, मुकेश शर्मा, गुड्डू शर्मा, संजय शर्मा की पत्नी रेणु देवी, मुन्ना कुमार, मंडल शर्मा, संजीव कुमार, अशोक शर्मा, रोशन शर्मा की पत्नी, सरवन शर्मा की पत्नी, मनोज शर्मा की पत्नी, अमोद शर्मा की पत्नी, घनश्याम ठाकुर, विकास कुमार, गिरधारी ठाकुर की पत्नी, भिखो शर्मा और उनकी पत्नी समता देवी समेत 40 नामजद और 60 अज्ञात पर सरकारी कार्य में बाधा और अन्य आरोपों के तहत केस दर्ज किया गया है।
भवानीपुर थानाध्यक्ष महेश कुमार ने बताया कि आरोपियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज कर ली गई है और मामले की जांच की जा रही है। जांच के आधार पर दोषियों पर कानूनी कार्रवाई की जाएगी।
यह घटना पुलिस और कानून व्यवस्था के लिए एक बड़ी चुनौती बनकर सामने आई है।